पाकिस्तान की राजधानी इस्लामाबाद से महज 10 किलोमीटर की दूरी पर रावलपिंडी के चकलाला में नूर खान एयरबेस है। यहां पर पाकिस्तानी एयरफोर्स का एयर मोबिलिटी कमांड का सेंटर है। रावलपिंडी स्थित पाकिस्तानी सेना के हेडक्वार्टर से सटे इस अहम एयरबेस से सभी लड़ाकू विमानों और ड्रोन हमलों का नियंत्रण किया जाता है।

तो परमाणु हथियार हो जाते नाकाम

  • पिछले दिनों भारत में हुए मिसाइल और ड्रोन हमले इसी एयरबेस से किये गए थे। इसी के पास नेशनल कमांड अथोरिटी की बिल्डिंग भी है, जो पाकिस्तान के परमाणु हथियारों की देखरेख करता है। इसे पाकिस्तान का परमाणु कमांड सेंटर भी कहा जाता है।
  • 10 मई की सुबह भारत ने नूर खान एयरबेस पर सटीक हमला किया। माना जा रहा है कि इस हमले में ब्रम्होस मिसाइल का इस्तेमाल किया गया था।
  • पाकिस्तानी एयर डिफेंस सिस्टम को धत्ता बताकर किये गए हमले ने नूर खान एयरबेस में भारी तबाही मचाई।

जनरल मुनीर की हालत हो गई थी खराब

इसी हमले ने पाकिस्तान सेनाध्यक्ष जनरल मुनीर से लेकर सेना के शीर्ष अधिकारियों और राजनीतिक आकाओं में सिहरन पैदा कर दी। परमाणु कमांड सेंटर के नष्ट होने के बाद पाकिस्तान अपने परमाणु हथियारों का इस्तेमाल नहीं कर सकता है, जिसकी धमकी वह भारत को लगातार देता रहा है और 22 अप्रैल को पहलगाम हमले के बाद से ही परमाणु युद्ध की धमकी दिखाकर दुनिया से भारत को रोकने की अपील करता रहा है। लेकिन पहली बार पाकिस्तान को अहसास हुआ कि भारत उसके परमाणु हथियारों को नाकाम करने में भी सक्षम है।