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नई दिल्ली
पहलगाम में हुए आतंकी हमले के 15 दिनों के भीतर ही भारतीय सेना ने इसका बदला लिया है। भारतीय सेना ने पाकिस्तान की सीमा के भीतर घुसकर 9 आतंकी ठिकानों को तबाह कर दिया है। आतंकी हमले के बाद बीती रात भारतीय सेना ने पाक को कड़ा सबक सिखाया है। भारतीय सेना ने PoK में जैश और हिजबुल के आतंकी शिविरों पर हमला किया है।
इस ऑपरेशन सिंदूर के कुछ समय बाद सरकार की ओर से तस्वीरें भी साझा की गई हैं और स्पष्ट किया गया है कि हमले में किसी भी नागरिक या सैन्य प्रतिष्ठान को निशाना नहीं बनाया गया। वही, भारत की ओर से कहा गया कि भारत ने अपने अधिकार का उपयोग किया है और आतंकियों का सफाया किया गया है।
भारत ने किया अपने अधिकारों का प्रयोग: सरकार
भारत ने ऑपरेशन सिंदूर को लेकर कहा कि भारत ने पहलगाम जैसे सीमा पार हमलों का जवाब देने, उन्हें रोकने और रोकने के अपने अधिकार का इस्तेमाल किया है। भारत ने कहा कि हमारा पूरा फोकस आतंकी ढांचे को नष्ट करने और आतंकवादियों निष्क्रिय करने पर है।
बता दें कि ऑपरेशन सिंदूर के अंजाम के बाद विदेश सचिव विक्रम मिस्री, कर्नल सोफिया कुरैशी और विंग कमांडर व्योमिका सिंह ने एक मीडिया ब्रीफिंग की, जिसमें उन्होंने बताया कि पाकिस्तान पल्ला झाड़ने और आरोप लगाने में ही व्यस्त रहा है। पाकिस्तान स्थित आतंकी ठिकानों के बारे में हमें सूचना मिली कि आतंकी और हमले कर सकते हैं, ऐसे में इन्हें रोकना जरूरी था।
इन आतंकी ठिकानों को बनाया गया निशाना
ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारत के जवानों ने पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में आतंकी ठिकानों पर मिसाइल हमले किए। इनमें जैश-ए-मोहम्मद का गढ़ बहावलपुर और मुरीदके में लश्कर-ए-तैयबा का ठिकाना शामिल है।
क्यों रखा गया Operation Sindoor नाम?
पहलगाम आतंकी हमले के 15 दिन बाद यानी बीती रात ये अटैक किया गया, जिसमें लगभग 250 आतंकी मारे गए हैं। बता दें कि पहलगाम हमले के बाद पीएम मोदी ने तीनों सेनाओं के चीफ के साथ कई बैठक की थी।
इन गुप्त बैठकों में पीएम मोदी ने साफ संदेश दिया था कि पहलगाम हमले में आतंकियों ने हमारी कई महिलाओं को विधवा किया और पुरुषों को मारकर सिंधूर हटाया है। हमें इसका जवाब देते हुए बड़ी कार्रवाई करनी है। पीएम ने इसी कारण इस सैन्य ऑपरेशन का नाम ‘मिशन सिंदूर’ रखा था।