अस्पताल की पैथोलाजी लैब में प्रतिदिन 80 से 90 मरीजों की थायराइड की जांच की जा रही है। इसमें 15 से 20 मरीज प्रतिदिन सामने आ रहे हैं। थायराइड के असंतुलन से शरीर सूखता और मोटापा भी आता है। इससे बचने के लिए धूमपान और एल्कोहल को छोड़ दें। चीनी, चावल, आयली फूड का सेवन न करें। मैदा से बनी चीजें खाने से परहेज करें। चाय और कााफी का सेवन कम करें।

बीमारी के कारण

  • – अव्यवस्थित लाइफस्टाइल
  • – खाने में आयोडीन कम या अधिकता
  • – तनाव अधिक लेना
  • – वंशानुगत
  • – गलत खानपान और देर रात तक जागना
  • – डिप्रेशन की दवाइयों लेना
  • – डायबिटीज
  • – भोजन में सोया उत्पादों का अधिक इस्तेमाल

थायराइड के लक्षण

घबराहट, अनिद्रा, चिड़चिड़ापन, हाथों का कांपना, अधिक पसीना आना, दिल की धड़कन बढ़ना, बालों का पतला होना एवं झड़ना, मांसपेशियों में कमजोरी एवं दर्द रहना, ज्यादा भूख लगना, वजन का घटना, महिलाओं में मासिक धर्म की अनियमितता, हड्डी में कैल्शियम तेजी से खत्म होना।

बचाव के उपाय

रोजाना योग करना, टहले और एक्सरसाइज करें, रात में हल्दी का दूध पीएं, नारियल तेल से बना खाना खाएं, पर्याप्त मात्रा में नींद लें। भोजन में ज्यादा से ज्यादा फल व सब्जियों को शामिल करें, हरी पत्तेदार सब्जियों का सेवन करें।