सेबी ने छोटे व मझोले उद्योगों (एसएमई) के लिए आईपीओ लाने के नियम सख्त कर दिए हैं। नए नियम के मुताबिक, इश्यू लाने वाली कंपनियों का पिछले तीन वित्त वर्षों में से दो वित्त वर्ष में परिचालन मुनाफा कम-से-कम एक करोड़ रुपये होना चाहिए। साथ ही, ऑफर फॉर सेल के तहत प्रमोटर्स 20 फीसदी से ज्यादा हिस्सा नहीं बेच सकते हैं। सेबी ने सर्कुलर में कहा, एसएमई आईपीओ के लिए न्यूनतम आवेदन आकार को बढ़ाकर दो लॉट किया गया है। विक्रेता शेयरधारकों को अपनी मौजूदा हिस्सेदारी के 50 फीसदी से अधिक बिक्री की अनुमति नहीं होगी। नियमों को सख्त करने का मकसद निवेशकों के हितों की रक्षा करते हुए अच्छे ट्रैक रिकॉर्ड वाले एसएमई को फंड जुटाने का मौका देना है। सर्कुलर के मुताबिक, आईपीओ लाने वाली कंपनियों को समाचार पत्रों में घोषणाएं प्रकाशित करने और मसौदे तक आसान पहुंच के लिए क्यूआर कोड भी देना होगा। एसएमई आईपीओ में सामान्य कॉरपोरेट उद्देश्य के लिए आवंटित राशि कुल निर्गम आकार का 15 फीसदी या 10 करोड़ रुपये, जो भी कम हो, पर सीमित की गई है। निर्गम से प्राप्त आय से कर्ज चुकाने की अनुमति नहीं होगी।
Business Updates: एसएमई आईपीओ के नियम सख्त; पाम तेल महंगा होने से साबुन के दाम बढ़ाएगी गोदरेज कंज्यूमर
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