यमुना एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (YEIDA) अब उत्तर प्रदेश के हाथरस जिले में एक नया और अत्याधुनिक शहर बसाने जा रहा है। इस परियोजना के लिए करीब 950 एकड़ भूमि निर्धारित की गई है, जहां आवासीय, औद्योगिक, वाणिज्यिक, और पर्यटन से जुड़ी तमाम सुविधाएं विकसित की जाएंगी। इस क्षेत्र के लिए मास्टर प्लान तैयार करने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है, जिसे दो चरणों में लागू किया जाएगा।
हाथरस में नई उम्मीदों की जमीन तैयार
YEIDA ने पहले ही अलीगढ़ के टप्पल और हाथरस क्षेत्र को लेकर मास्टर प्लान पर काम शुरू कर दिया है। इसके तहत हाथरस की भौगोलिक स्थिति का सर्वेक्षण किया जाएगा, जिसके लिए एक विशेषज्ञ एजेंसी का चयन किया जाएगा। इस सर्वेक्षण के बाद ही भूमि अधिग्रहण की प्रक्रिया को आगे बढ़ाया जाएगा।
किन क्षेत्रों को मिलेगा सीधा फायदा?
इस योजना में हाथरस जिले की सदर, सासनी और सादाबाद तहसील के गांवों को शामिल किया गया है। यहां औद्योगिक और आवासीय टाउनशिप विकसित की जाएगी, जिससे युवाओं को रोजगार और स्थानीय लोगों को बेहतर जीवनशैली का लाभ मिल सकेगा।
358 गांव बनेंगे योजना का हिस्सा
शुरुआत में इस मास्टर प्लान में 422 गांव शामिल किए गए थे, लेकिन स्थानीय निवासियों की मांग पर 2022 में तत्कालीन डीएम अर्चना वर्मा ने 65 गांवों को योजना से बाहर कर दिया। अब कुल 358 गांव इस विकास योजना का हिस्सा हैं।
अन्य योजनाओं के साथ जोड़कर होगा विकास
YEIDA पहले ही मथुरा में हेरिटेज सिटी, अलीगढ़ में लॉजिस्टिक पार्क और अर्बन सेंटर जैसे प्रोजेक्ट्स पर काम कर रहा है। अब हाथरस में नया शहर बसाने की दिशा में यह कदम पूरे क्षेत्र के विकास को एक नई दिशा देगा।