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हाजीपुर
स्थानीय व्यवहार न्यायालय परिसर में गुरुवार को जमकर हंगामा किया गया। इस दौरान मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी कार्यालय के दरवाजा का कब्जा तक उखाड़ दिया गया। हंगामे के दौरान कार्यालय के कर्मचारी जान बचाने के लिए कार्यालय छोड़कर फरार हो गए।
पुलिस ने 5 लोगों को हिरासत में लिया
इस दौरान मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी डॉ. राजेश सिंह ने तुरंत ही पुलिस अधीक्षक को सूचना दी। इसके बाद एसपी पुलिस बल और ब्रज वाहन के साथ वहां पहुंचकर पांच लोगों को हिरासत में ले लिया। इसके बाद हंगामा शांत हो सका।
क्या है मामला
जानकारी के अनुसार गत 17 फरवरी को हरलोचनपुर थाना क्षेत्र स्थित घर से भोर में शौच के लिए गई एक 20 वर्षीय युवती के अपहरण के मामले में उसके पिता ने हरलोचनपुर थाना क्षेत्र के चांदपुर फतेह वार्ड संख्या 07 निवासी जसीम अकरम, उसके पिता अब्दुल कादिर, उसके भाई महमूद आलम, महताब आलम और सकील के विरुद्ध अपनी पुत्री का अपहरण कर लेने की प्राथमिकी पातेपुर थाने में दर्ज कराई थी।
इस मामले में पुलिस ने युवती को बरामद कर बयान के लिए अपर मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी त्रयोदश शिव श्रुतिका के समक्ष प्रस्तुत किया था। वहां से इस बयान के लिए न्यायिक दंडाधिकारी की प्रतिनियुक्ति को लेकर मुख्य न्यायिक दंडाधि
बयान के लिए ले जाने के दौरान हंगामा
बताया गया है कि युवती को बयान के लिए ले जाने के दौरान बड़ी संख्या में लोगों ने हंगामा शुरू कर दिया। युवती को बिना बयान कराए ही खींचकर मारपीट करते हुए ले जाने लगे। इस दौरान इन लोगों को धक्का देकर युवती सीधे भागकर मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी के कार्यालय में घुस गई।
इस दौरान लोगों ने वहां भी पहुंचकर जमकर बवाल मचाया, जिससे कार्यालय कर्मचारी कार्यालय छोड़करकर फरार हो गए। इस दौरान लोगों ने इस कार्यालय के दरवाजे का कब्जा तोड़कर युवती को ले जाने का प्रयास किया और उसके साथ मारपीट करते हुए हंगामा किया।
हंगामा और तोड़-फोड़ के दौरान मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी ने पुलिस अधीक्षक को सूचना दी। पुलिस अधीक्षक तुरंत यहां पहुंच गए। उनके यहां आते ही बड़ी संख्या में पुलिस भी पहुंची और बवाल कर रहे लोगों में 5 लोगों को हिरासत में ले लिया। बताया गया है कि हिरासत में लिए गए सभी लोग युवती के परिवार के हैं।