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लखनऊ
कम जनसंख्या के चलते वित्तीय तंगी झेल रहीं ग्राम पंचायतों को अब राहत मिलेगी। प्रदेश सरकार ने 2011 की जनगणना के आधार पर 1500 तक की आबादी वाली ग्राम पंचायतों के लिए ”पंचायत प्रतिपूर्ति एवं प्रोत्साहन योजना” लागू कर दिया है। इसमें पंचायतों को अपनी कमाई (ओएसआर) बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा और अतिरिक्त धनराशि भी प्रदान की जाएगी।
नई योजना के तहत अगर कोई ग्राम पंचायत अपने संसाधनों से 10 हजार रुपये की आय करती है, तो सरकार उसे पांच गुणा यानी 50 हजार रुपये प्रोत्साहन राशि देगी। इसी तरह एक लाख रुपये की आय करने वाली पंचायत को पांच लाख रुपये प्रोत्साहन राशि दी जाएगी। इस योजना के लिए वित्तीय वर्ष 2025-26 में 10 करोड़ रुपये का बजट तय किया है।
अब तक कम आबादी वाली ग्राम पंचायतों को सीमित बजट मिलता था, जिससे ग्राम प्रधानों का मानदेय, पंचायत सहायकों की तनख्वाह, सामुदायिक शौचालयों और पेयजल योजनाओं की मरम्मत जैसे कार्य प्रभावित होते थे। कैबिनेट ने इन्हें राहत देने का निर्णय लिया है। पंचायतों को मिलने वाली आर्थिक सहायता का वितरण कुल जनसंख्या और अनुसूचित जाति-जनजाति की आबादी के अनुपात में किया जाएगा।
ग्राम पंचायतें यह आय मछली पालन, बाजारों के आयोजन या अन्य संसाधनों के उपयोग से कमा सकती हैं। सरकार का मानना है कि इस योजना से पंचायतों को आत्मनिर्भर बनने में मदद मिलेगी और ग्रामीण क्षेत्रों में विकास की रफ्तार तेज होगी।