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लखनऊ
हाई कोर्ट की लखनऊ बेंच ने पीडब्ल्यूडी, आवास विकास परिषद, एलडीए, लखनऊ मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन और नगर निगम को पॉलीटेक्निक से किसान पथ तक एलीवेटेड रोड के साथ-साथ मेट्रो रेल सेवा शुरू करने के संबंध में एकीकृत योजना बनाने के लिए दो माह का समय दिया है।
न्यायालय ने मामले की अगली सुनवाई के लिए 29 मई की तिथि नियत करते हुए कहा है कि विशेषज्ञों द्वारा इस एकीकृत योजना को बनाने के बाद इसके पूरा होने में लगने वाला समय भी पता चल जाएगा। तब इसे मूर्तरूप देने के लिए कदम उठाए जा सकते हैं।
2017 की जनहित याचिका पर कोर्ट ने दिया आदेश
यह आदेश न्यायमूर्ति एआर मसूदी व न्यायमूर्ति राजीव सिंह की खंडपीठ ने अवध बार एसोसिएशन की वर्ष 2017 की एक जनहित याचिका पर पारित किया। न्यायालय के पिछले आदेश के अनुपालन में पीडब्ल्यूडी के प्रमुख सचिव अजय चौहान, आवास विकास परिषद के चेयरमैन पी गुरुप्रसाद व एलडीए वीसी प्रथमेश कुमार वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से सुनवाई के दौरान उपस्थित हुए।
वहीं, एलएमआरसी के जीएम आशीष द्विवेदी तथा एलडीए सचिव विवेक श्रीवास्तव कोर्ट में हाजिर हुए। न्यायालय ने पाया कि उसके पिछले आदेश के बाद उक्त प्रोजेक्ट को लेकर कोई विशेष प्रगति नहीं हुई। इस पर पीडब्ल्यूडी के प्रमुख सचिव का कहना था कि सभी हितधारक विभागों, प्राधिकरण व एलएमआरसी को साथ मिलकर एकीकृत योजना बनाई जा सकती है।
शहर से जुड़े विकास की समितियां भी शामिल हों- कोर्ट
न्यायालय ने इसे उपयुक्त मानते हुए शहर के विकास से जुड़ी सभी एजेंसियों को इसमें शामिल करने को कहा। कोर्ट में उपस्थित हुए अधिकारियों ने योजना तैयार करने के लिए तीन माह का समय मांगा। हालांकि न्यायालय ने दो माह का समय दिया है। सभी अधिकारियों को अगली सुनवाई पर पुनः उपस्थित होने का भी आदेश दिया है।